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USDB stablecoin on the XRP Ledger (XRPL) by Brazil

USDB stablecoin on the XRP Ledger (XRPL) by Brazil ब्राज़ील की एक कंपनी ने नया डिजिटल पैसा बनाया क्या हुआ? ब्राज़ा ग्रुप नाम की एक बड़ी कंपनी ने USDB नाम का एक नया डिजिटल पैसा (स्टेबलकॉइन) बनाया है। यह बिल्कुल अमेरिकी डॉलर के बराबर की कीमत का है। यह कैसे काम करता है? यह XRP Ledger नाम की एक blockchain तकनीक पर बना है 1 USDB = 1 अमेरिकी डॉलर (हमेशा) इसके पीछे असली पैसा और सरकारी बॉन्ड्स हैं, इसलिए यह सुरक्षित है नियमित ऑडिट होता रहता है क्यों बनाया गया? अंतर्राष्ट्रीय पैसा भेजना आसान और सस्ता हो जाए ब्राज़ील के लोग अपना पैसा डॉलर में रख सकें (महंगाई से बचने के लिए) डिजिटल लेन-देन तेज़ और सुरक्षित हो कंपनी कितनी बड़ी है? 15 साल से काम कर रही है ब्राज़ील में बैंकों के बीच के कारोबार में 6वें नंबर पर है अप्रैल में सिर्फ 24 घंटे में 1.079 बिलियन डॉलर का कारोबार किया भविष्य की योजना: कंपनी के CEO का कहना है कि 2025 में crypto के नियम और बेहतर होंगे, और अगले साल तक USDB ब्राज़ील के डॉलर-आधारित डिजिटल पैसों के बाज़ार का 30% हिस्सा बन सकता है। सीधी बात यह है कि यह एक तर...

Pi network लुटेरों से सावधान Be Aware of Pi scammers | pi coin robbery

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 दोस्तों -अगर आप पाई नेटवर्क से जुड़े हैं और बहुत पाई बना लिया हैं तो तीन से चार चीजें ऐसी हैं जिसे जानना बहुत जरुरी है। क्योंकि अनजाने में अगर एक भी गलती होती है तो लम्बे समय से जो पाई बना रहे हैं वो पाई से हाथ धोना पड़ सकता है। या कहो आप अपने पाई खो सकते हैं। तो कौनसी ऐसी गलतीयां हैं जो नहीं करनी है वो एक के बाद एक जानते हैं। तो सभी महत्वपूर्ण काम निपटा कर ये वीडियो एक बार शांति से जरूर देखें बिना स्किप किये। 





पहला केस देखते हैं जो सच है -और ये मेटामित्र चैनल के एक व्यूअर का केस है जो आसाम से हैं। उन्होने बताया की उनके मेंनेट के चेकलिस्ट में तीसरे स्टेप में कुछ और वॉलेट एड्रेस दीखता है और आंठवे स्टेप में कुछ दूसरा ही वॉलेट एड्रेस दिखा रहा है। ऐसा क्यों ? आप में से कुछ लोगों को ऐसा दीखता होगा। तो उनके साथ बातचीत करके , कुछ चीजें चेक करके सही में क्या हुआ था वो जाना। आइए उन्होनें जो गलती की वो जानते हैं। तो ये पायोनियर के मेंनेट के आंठो स्टेप कम्प्लीट हो चुके हैं और 581.83 पाई का माइग्रेशन दिखा रहा है। जो वॉलेट एड्रेस आंठवे स्टेप में दिखा रहा है वो उन्होने पहले जनरेट किया था। यानि वो पहला वॉलेट था। अब इनके पास उसका पासफ्रेज न होने के कारण इन्होने उसके बाद दूसरा वॉलेट जनरेट कर दिया। यानी मेंनेट के दूसरे स्टेप में नए पासफ्रेज जनरेट किये, और तीसरे स्टेप में उसको कन्फर्म भी किया। तो इस प्रकार तीसरे स्टेप में और आंठवे स्टेप में दो अलग अलग वॉलेट दिखेंगे। पहला वॉलेट जो हे वो एक साल पहले जनरेट किया था इसलिए समय का फासला लम्बा होने की वजह से याद नहीं रहा की पासफ्रेज कहाँ रखे थे। तो अब इसका हल क्या होगा ? मित्रों अच्छी बात ये है की अभी तक पहले वॉलेट में पाई आए ही नहीं है। यानि आंठवे स्टेप में माइग्रेशन कम्प्लीट दिखा रहा है - तो सामान्य तौर पर चालीस दिन में पाई वॉलेट में आते हैं। परन्तु ब्लॉक एक्स्प्लोरर में वॉलेट की हिस्ट्री दिखती है। तो हिस्ट्री में अभी कोई पाई का माइग्रेशन नहीं हुआ है। तो चलो अच्छा है की पाई वो वॉलेट में नहीं आए। अब एक उम्मीद है की अगर पाई की टीम उनके दूसरे वॉलेट में पाई भेजती है तो उनको उनके पाई मिल सकते हैं। 

परन्तु अगर पहले वाले वॉलेट में उनके पाई भेजे तो क्या करना होगा ? तो भाई - किसी भी तरह से पासफ्रेज ढूंढने पड़ेंगे। मित्रों ध्यान से सुनें, पाई का तीसरा स्टेप कन्फर्म होने के बाद , kyc करना और KYC का रिज़ल्ट पास होने के बाद यानि पांचवा और छठा स्टेप कम्प्लीट होने के बाद ही सांतवा स्टेप आता है जिसमें वो पासफ्रेज डालने होते हैं। तो तब तक पायोनियर ने अपने पासफ्रेज कहीं तो रखे होंगे। है न ? इन्होने सांतवे स्टेप में वो पहले वाले पासफ्रेज इंटर किए थे तभी माइग्रेशन हुआ। इस पायोनियर के साथ बातचीत करने पर पता चला की - उन्होने एक स्क्रीन शॉट लेकर रखा था। तो अब एक चांस है की - जिस मोबाईल में स्क्रीनशॉट लिया था उस मोबाईल की हार्डडिस्क का पुराना डाटा - किसी रिकवरी सॉफ्टवेर से वापिस मिल सकता है। तो किसी विश्वासु मोबाईल रीपेरिंग या डाटा रिकवरी कम्पनी से डिलीट किया हुआ पुराना डाटा भी मिल सकता है जिसमें वो पासफ्रेज का फोटो देख सकते हैं। 

इस प्रकार दोनों वॉलेट के पासफ्रेज अपने पास होने पर - शान्ति रहेगी की अब पाई किसी भी वॉलेट में आए तो चिंता नहीं है। तो इस प्रकार जिसके भी पासफ्रेज खो गए हैं उन्हें ये बात समज में आई होगी। हो सकता है उनकी माइनिंग की महेनत बेकार नहीं जाएगी। 

एक और बात का भी ध्यान रखें - जिनके पासफ्रेज खोए नहीं है , जिन्होने पासफ्रेज का स्क्रीन शॉट लिया है। और वो मोबाईल में रखा है -वो लोग अब मोबाईल बदलना चाहते हैं तो क्या करना होगा ? - तो पहले पासफ्रेज को डायरी में लिखना होगा। दूसरा काम वो इमेज में पासफ्रेज दीखते वो इमेज को बिगाड़ना होगा - यानी उसके ऊपर कुछ एडिटिंग करके पासफ्रेज को छिपाना होगा। उसके बाद वो मोबाईल बदलने से पहले पुराना डाटा नए मोबाईल में लेकर , पुराने मोबाईल का सारा डाटा रिमूव करना होगा। यानि पूरा फोन रिसेट करने के बाद ही पुराना मोबाईल बेचना होगा। 

चलिए अब दूसरी बात देखते हैं की पाई में दूसरी क्या सावधानी रखनी है। पाई के वॉलेट की बात करें तो पाई के वॉलेट में बहुत नए फीचर्स आए हैं , अब इनमें से एक अच्छे फीचर का या कहो फेसिलिटी का दुरुपयोग करना स्केमर्स ने शुरू कर दिया है। वो ये है की आपको वॉलेट में नोटिफिकेशन मिलता है - उस स्क्रीन पर जाते हैं तो ऐसा दीखता है की किसी ने पाई की रिकवेस्ट भेजी है। शुरुआत में बहुत सारे जीरो होते हैं - तो कई पायोनियर इसे कंटीन्यू करके एक्सेप्ट करते हैं। तो आपके वॉलेट में से सीधा पाई का पेमेंट हो जाता है। 

एक इंडोनेशियाई पायनियर ने गलती से 1513π पाई के पेमेन्ट को एक्सेप्ट कर दिया और हो गया कल्याण। 


ये पायनियर अपने पाई के वॉलेट में ऐसी ही कोई अनजान पेमेंट रिकवेस्ट को गलती से एक्सेप्ट कर बैठे। या कहो किसी ने पेमेंट रिक्वेस्ट दी और इन्होने उस का स्वीकार कर लिया। तो उनके वॉलेट में से उतने पाई उस रिकवेस्ट करने वाले के वॉलेट में चले गए। अब कुछ नहीं कर सकते। तो ऐसे आकस्मिक पेमेंट रिकवेस्ट के अनुरोधों से सावधान रहें और किसी भी लेनदेन की रिकवेस्ट को स्वीकार करने से पहले दो बार जांच लें। सतर्क रहें और अपने #Pi को ऐसे फ्रॉड और फर्जी और जूठे पेमेन्ट रिकवेस्ट से बचाएं।




गुजरात में भी कई पायोनियर ने इस प्रकार पाई खोए हैं। यानि बिना सोचे या बिना मेसेज को पढ़े - वॉलेट में आए हुए नोटिफकेशन को एक के बाद एक फटाफट टेप करके आगे बढ़ गए। बाद में पता चला की ये तो किसी लुटेरासुर स्कैमर ने पाई का पेमेंट करने का नोटिफिकेशन सन्देश भेजा था । 

ये रियल केस है गुजरात के पायोनियर का। इनके वॉलेट में ऐसी तीन रिक्वेस्ट आई थी और इन्होने पहेली रिकवेस्ट  को बिना सोचे एक्सेप्ट किया और एक हजार से ज्यादा पाई चले गए। वो लुटेरासुर चोर भी होशियार था जैसे ही उसके वॉलेट में पाई आए दूसरी ही मिनट में उसने अपने बोस लुटेरासुर वॉलेट में आगे भेज दिए। जाल में फंसे पायोनियर के पास  अभी भी दो रिक्वेस्ट पेंडिंग पड़ी है। तो इस प्रकार इस पृथ्वी पर पाई की चोरी करने वाली लुटेरासुरों की कई टोलियां या गिरोह - उपद्रव मचा रही है। 

अब आपके वॉलेट में ऐसी कोई रिक्वेस्ट नोटिफिकेशन में दिखती है तो करना क्या है वो दिखाते हैं। देखिए ये वॉलेट में ऐसी बहुत रिकवेस्ट आई है। जो एडमिन पाई वॉलेट के नाम से आई हे। तो पायोनियर को लगता है की पाई की टीम ने भेजी होगी। परन्तु पाई की टीम ऐसी कोई भी रिक्वेस्ट नहीं भेजती है। यही वो जाल है जिसमें फंसना नहीं है। ऐसी रिक्वेस्ट को ओपन करके यहाँ डिक्लाइन करना है। रिजेक्ट करना है। इसका स्वीकार नहीं करना है। तो ये अपने आप चली जाएगी। एक के बाद एक सभी रिकवेस्ट को रिजेक्ट करना होगा। 

पाई की टीम को ये प्रॉब्लम का पता लगा है और अब ऐसी कोई भी अनजान रिक्वेस्ट को एक्सेप्ट करने से पहले ये एक मेसेज दीखता है - जिसमें लिखा है - क्या आप ये रिकवेस्ट भेजने वाले पायोनियर को जानते हैं ? हमें आपके वॉलेट के कोन्टेक लिस्ट में ये पायोनियर का वॉलेट एड्रेस नहीं दिखा है - तो पाई भेजने का मेसेज एक्सेप्ट करने से पहले सतर्क रहें। एक बार पाई भेजने के बाद वापिस नहीं आएँगे।  निचे लिखा है  पाई की टीम आपसे कभी भी ऐसी पाई की रिक्वेस्ट नहीं भेजती। 



तो इससे कुछ पायोनियर सतर्क और सचेत हो जाते हैं और आगे गलती नहीं करते। 

परन्तु - सबसे पहले तो जानने वाली और समझने वाली बात ये हैं की आपका वॉलेट एड्रेस उन स्कैमर्स के पास कहाँ से आता है। है न ? तो भाई आपने ही भूतकाल में पहेले किसी लिंक पर अपना वॉलेट एड्रेस दिया होता है। ये सोच कर की वहां पाई से अच्छी चीजें मिल रही है या फिर वहां आपके पाई अच्छे दाम पर बिक जाएंगे। तो ऐसी लिंक में कुछ स्टेप्स प्रोसेस करने पर फिर आगे कुछ नहीं हुआ तो छोड़ देते हैं और फिर याद नहीं रहता की ऐसी कौनसी लिंक पर और कितनी लिंक पर आपने अपनी पाई की डिटेल शेर कर दी थी। अरे कुछ लोग तो अपने पास कितने पाई है वो भी कमेंट में बताते हैं। हमने शुरू से कहा है की आपके पास कितने पाई है वो पब्लिक में कभी भी न बताएं। स्कैमर्स हर जगह मौजूद है। आपका सोशियल मीडिया का अकॉउंट, ईमेल एड्रेस, फोन नंबर - जैसी आपकी सभी डिटेल एक एक करके इकठी करते रहेंगे और कब आपके पाई लूटने के लिए जाल बिछाएंगे पता नहीं चलेगा। पाई में जैसे ही कोई नया फीचर आया तो निर्दोष पायोनियर जिनको इतना कुछ पता नहीं रहेता कहीं भी क्लिक कर देते हैं। और उनके पाई वो स्कैमर्स चुरा लेते हैं। 

दूसरा भी एक तरीका इन स्कैमर्स चोरों ने निकाला है जिससे पायोनियर अपनी डिटेल दे देते हैं। उसके बारे में भी जानना जरुरी है। तो आइए वो भी जान लेते हैं। देखिए पाई नेटवर्क में एक बार लोक अप सेटिंग सेव कर दिया तो उसे बाद में घटा नहीं सकते हैं। कई पायोनियर को उसको कम करना होता है। तो स्कैमर्स ने ऐसे पायोनियर को फ़साने भी जाल बिछा दिया है।



ऐसा एक ईमेल तैयार किया है - जिसमें अपना लोक आप डेटिंग चेन्ज कर सकते हैं ऐसा कहा है और साथ में एक लिंक दिया है जिसमें से ये गूगल फॉर्म ओपन होता है। अब ये ईमेल वो चोर कम्पनी जो हे वो लाखों करोड़ों लोगों को सेंड करते हैं। जो पायोनियर नहीं है वो ऐसे ईमेल पर ध्यान नहीं देते परन्तु जो लोग पायोनियर हैं और पाई का माइनिंग करते हैं - वे लोग ये ईमेल पढ़ कर इसको सच मान लेते हैं। और वो जूते गूगल फॉर्म में अपनी डिटेल यानी अपने पाई एकाऊंट की डिटेल डाल देते हैं। डिटेल फील अप करने के बाद तुरंत तो होता कुछ नहीं है, परन्तु वो स्कैमर्स के पास वो पायोनियर की डिटेल जैसे की वॉलेट एड्रेस या पासफ्रेज , और उसके पास कितने पाई है वो सब डिटेल पहुँच जाती है। फिर स्कैमर्स भविष्य में ऐसे पायोनियर के पाई किस प्रकार चुराना है उसका प्लानिंग करते हैं। परन्तु जो पायोनियर्स सतर्क रहते हैं, लालच में नहीं आते और किसी भी अनजान लिंक को ओपन नहीं करते, या पाई नेटवर्क में हो रहे एक एक फीचर की सही जानकारी रखते हैं - यानि जिन्हें ज्ञान होता है वो कभी नहीं फंसते। 

लास्ट में एक और चीज भी जान लेते हैं की - जिनके पासफ्रेज ही किसी स्कैमर ने चोरी कर लिए हैं - वो क्या करें ? तो भाई उनके पाई तो अभी तक स्कैमर्स ने किसी कॉम्पुटर में या अपने ही मोबाईल के वॉलेट में आपके पासफ्रेज डाल कर आपका वॉलेट ओपन करके आपके पाई चोरी कर लिए होंगे। परन्तु जो पाई लोक है वो अभी ट्रांसफर या चोरी नहीं हो सकते। तो करना क्या है ? देखिए जिस दिन आपके पाई अनलॉक होते हैं यानि वॉलेट में लोक पाई अनलॉक होने की तारीख दिखती है - उस तारीख तक इंतज़ार करें - जैसे ही वो तारीख को पाई अनलॉक होते हैं तुरंत ही आप अपने वो पाई अपने किसी दोस्त को या अपने किसी रिश्तेदार को सेंड कर दें। दूसरी एक अच्छी खबर है की पाई की टीम ऐसा फीचर बना रही है की पायोनियर के अकॉउंट उसी पायोनियर के वॉलेट के साथ लिंक करें। तो दूसरे किसी मोबाईल में या कोम्प्युटर में दूसरे अकॉउंट से या बिना अकॉउंट के आपका वॉलेट ओपन नहीं होगा। परन्तु ये फीचर बनने में वक्त लग सकता है। तब तक सतर्क रहें। और हाँ जब तक आपके पाई आप के वॉलेट में लोक हैं तब तक अभी तो दूसरे पासफ्रेज बनाने की जरूरत नहीं लगती। पहले तो वॉलेट में अपने लोक किए हुए पाई को बचाना है। 


पाई की कीमत चाहे कुछ भी हो-  काम में तो आएँगे। अरे हाँ कीमत से आगे अब वीडियो का एन्ड करते हुए आगे कहेंगे की - देखिए पाई की कीमत अभी जीरो है। पाई किसी एक्सचेंज पर ऑफिशियल तरीके से लॉन्च नहीं हुआ है। जो लोग पाई से नहीं जुड़े हैं पाई को नहीं मानते हैं उनको पाई बेकार चीज लगती है क्योंकि वे शायद पाई को मोबाईल में सिर्फ एक नंबर की तरह देखते हैं। परन्तु जिन पयोनियरों के पाई चोरी हो चुके हैं या किसी लालच में आ कर स्कैमर का शिकार हो चुके हैं - उन्हें पाई की असली कीमत का पता लग चूका है। और इसकी अहमियत का अहसास हो रहा है। इतना समय देकर लगन से श्रद्धा से और धीरज से पाई को बनाया था उसका ध्यान न रखने से या कहो अपने  अज्ञान की वजह से एक सेकंड में चोरी हो गया। इसी लिए हम सभी वीडियो के अंत में कहते हैं की - नया नया जानते रहें और मस्त रहें , क्योंकि बिना जाने अज्ञान से कहीं भी क्लिक कर देंगे या गलती करेंगे तो प्रसन्न नहीं रहे सकेंगे। 

तो हे पायोनियरों ! पाई चोरी हो गए हैं तो निराश नहीं होना है, अभी भी बहुत सारे पाई बनाने बाकी है। अभी भी ९०% दुनिया को पता नहीं है की पाई क्या है। अभी भी अपनी टीम बढ़ा सकते हैं और ढेरों पाई बना सकते हैं। अभी पाई की गेम शुरू नहीं हुई है। बहोत कुछ बाकी है। समजो अभी भी पाई की बारिश हो रही है। तो जब तक ओपन मेंनेट नहीं आता तब तक ज्यादा से ज्यादा पाई बनाते रहें, नया नया जानते रहें और मस्त रहें। मेटामित्र से जुड़े रहें। मेरा मित्र मेटा मित्र। जयहिंद जय भारत। 




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